बंगाल ब्यूरो
कोलकाता। पश्चिम बंगाल के बहुचर्चित मवेशी तस्करी मामले में बीरभूम जिले के बहुचर्चित तृणमूल नेता अणुव्रत मंडल को कलकत्ता हाईकोर्ट की खंडपीठ ने राहत देने से इनकार कर दिया है। गिरफ्तारी से बचाव के लिए उन्होंने मुख्य न्यायाधीश प्रकाश श्रीवास्तव की खंडपीठ में याचिका लगाई थी। उसके पहले एकल पीठ ने कह दिया था कि सीबीआई जांच में बार-बार कोर्ट हस्तक्षेप नहीं कर सकता। इसके बाद खंडपीठ में मंगलवार को सुनवाई हुई और कोर्ट ने साफ कर दिया कि अणुव्रत को इस मामले में गिरफ्तारी से रोकने संबंधी कोई भी निर्देश खंडपीठ से नहीं दिया जाएगा। इसके साथ ही कोर्ट ने उनकी याचिका खारिज कर दी है।
उल्लेखनीय है कि मवेशी तस्करी के मामले में उन्हें चार बार सीबीआई की टीम नोटिस दे चुकी है लेकिन वह पूछताछ में सहयोग नहीं कर रहे हैं। हर बार गिरफ्तारी से बचने के लिए कोर्ट का रुख करते हैं जिसकी वजह से जांच प्रभावित हो रही है। अब मंगलवार को जब खंडपीठ ने स्पष्ट कर दिया है कि उनकी गिरफ्तारी पर रोक नहीं लगाई जाएगी तो माना जा रहा है कि सीबीआई उन्हें हिरासत में लेने की प्रक्रिया शुरू कर सकती है।