बिहार में तेजस्वी का दावा फेल हुआ, नीतीश सरकार ने आसानी से विश्वास मत जीता
राजद के तीन विधायकों ने पाला बदला
सरकार के पक्ष में 129 वोट पड़े
विपक्ष ने विश्वास मत मतदान प्रक्रिया का वाक आउट किया
विश्वपति
स्टेट ब्यूरो
नव राष्ट्र मीडिया
पटना।
बिहार विधानसभा में आज नीतीश सरकार ने आसानी से विश्वास मत हासिल कर लिया। विश्वास मत के पक्ष में 129 वोट पड़े। रजत के समेत महागठबंधन के सभी दलों ने अंत में हुए विश्वास मत का बहिष्कार कर दिया सभी सदस्यों ने वाक आउट किया। इसके पूर्व राजद के भी तीन विधायकों ने पाला बदलकर सत्ता पक्ष के लिए वोट किया।
इस कारण नीतीश सरकार ने आसानी से जीत हासिल की। अगर स्पीकर महेश्वर हजारी के वोट की भी गिनती की जाए , तो सत्ता पक्ष में के पास 130 वोट आए।
लेकिन इसके पूर्व पुराने स्पीकर अवध बिहारी चौधरी को हटाने के मामले में तस्वीर दूसरी थी। सत्ता पक्ष ने मात्र 125 वोट से स्पीकर को हटाने में विश्वास मत हासिल किया । इसके बाद विश्वास मत हासिल करने के लिए मतदान हुआ। सरकार के विश्वास मत के लिए 122 वोट चाहिए थे , उससे सात अधिक वोट सरकार ने हासिल किया।
असल में, पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी प्रसाद यादव के खेला होने की बात उल्टी हो गई । दांव उल्टा पड़ गया । राजद के ही तीन विधायक प्रहलाद यादव ,चेतन आनंद और नीलम देवी ने पाला बदलते हुए सरकार के पक्ष में वोट दे दिया। इससे तेजस्वी यादव सदन में भी काफी नाराज और बौखलाए दिखे। विश्वास मत के पहले स्पीकर के खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 125 और विपक्ष में 112 विधायकों ने वोट किया । इसमें भी राजद के तीन विधायकों ने सरकार के पक्ष में मतदान किया। अब नीतीश कुमार की सरकार ने सदन में अग्निपरीक्षा को पास कर लिया है।
दरअसल, बिहार में सत्ता परिवर्तन के बावजूद राजद कोटे से स्पीकर बने अवध बिहारी चौधरी स्पीकर की कुर्सी छोड़ने को तैयार नहीं थे। अवध बिहारी चौधरी ने ऐलान किया था कि वे स्पीकर के पद से इस्तीफा नहीं देंगे और उनके खिलाफ लाए गए अविश्वास प्रस्ताव का सामना करेंगे। विधानसभा में आज फ्लोर टेस्ट से पहले स्पीकर अवध बिहारी चौधरी के खिलाफ सदन में अविश्वास प्रस्ताव लाया गया, और सदन में वोटिंग कराई गई।
सबसे अंत में सरकार के पक्ष में हुए विश्वास मत की वोटिंग का विपक्ष में बहिष्कार कर दिया। इसलिए विपक्ष में एक भी वोट नहीं पड़ा।