बंगाल ब्यूरो

कोलकाता। पश्चिम बंगाल विधानसभा का दो दिवसीय सत्र बुधवार को शुरू होते ही सदन के बाहर आंदोलनकारियों का हंगामा जारी रहा। सबसे पहले पार्श्व शिक्षिकाओं ने यहां जमकर विरोध प्रदर्शन किया जिन्हें जैसे तैसे समझा कर हटाया गया। उसके बाद कांग्रेस छात्र परिषद के सदस्यों ने विधानसभा के गेट के पास एकत्रित होकर जमकर नारेबाजी और विरोध प्रदर्शन किया है। छात्र परिषद के सदस्यों का कहना था कि पश्चिम बंगाल में शिक्षक नियुक्ति प्रक्रिया कभी भी धांधली मुक्त नहीं रही है। इसके अलावा छात्र परिषद के नेताओं ने मांग की है कि कोविड-19 प्रोटोकॉल को मानते हुए राजद के शिक्षण संस्थानों को जल्द से जल्द खोल देना चाहिए।
तय कार्यक्रम के अनुसार छात्र परिषद के सदस्यों ने विधान भवन स्थित कांग्रेस के प्रदेश मुख्यालय से पदयात्रा कर विधानसभा तक मार्च किया। पुलिस ने इन्हें रोकने के लिए जगह-जगह बैरिकेड की थी लेकिन छात्र परिषद के सदस्यों ने इसे तोड़कर विधानसभा तक पदयात्रा की। इन्हें संभालने के लिए पुलिस को काफी मशक्कत करनी पड़ी। हालांकि विधानसभा गेट पर इन छात्रों को पुलिस ने बलपूर्वक रोक दिया जिसके बाद सड़क पर बैठकर ही ये लोग विरोध प्रदर्शन करने लगे थे। बाद में मौके पर पहुंचे आला अधिकारियों ने ने समझा-बुझाकर वापस भेजा है।

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