बंगाल ब्यूरो
कोलकाता । तृणमूल कांग्रेस ने सोमवार को नगालैंड के मोन जिले का अपना दौरा रद्द करते हुए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर निशाना साधा है। पार्टी ने दावा किया है कि वहां निषेधाज्ञा लागू होने के कारण अपने प्रतिनिधिमंडल को वहां नहीं भेजेगी। मोन जिले में सुरक्षा बलों की कथित गोलीबारी में 14 लोगों की मौत के बाद विपक्ष हमलावर है। इसके बाद पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने अपना पांच सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल वहां भेजने की घोषणा की थी। प्रतिनिधिमंडल उग्रवाद रोधी अभियान के दौरान सुरक्षा बलों की कथित गोलीबारी में मारे गए लोगों के परिजन से मिलने मोन जाने वाला था। अपराहन 3:00 बजे के करीब सभी प्रतिनिधि दमदम हवाई अड्डे पर पहुंच गए थे लेकिन नागालैंड में निषेधाज्ञा लागू होने की जानकारी मिलने के बाद दौरा रद्द करने का निर्णय लिया गया।
तृणमूल की नेता और सांसद सुष्मिता देव ने कहा, ‘‘हमें यह पता चला है कि इलाके में निषेधाज्ञा लागू है, इसलिए हमने मोन की अपनी यात्रा रद्द कर दी है। हम निषेधाज्ञा हटने के बाद इलाके का दौरा करेंगे।’’
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर हमला बोलते हुए देव ने कहा कि जब आम नागरिक मारे जा रहे थे तब गृहमंत्री क्या कर रहे थे? केंद्रीय गृहमंत्री अपनी जवाबदेही से नहीं बच सकते, उन्हें इस्तीफा देना चाहिए। आम लोगों पर फायरिंग रक्षा क्षेत्र में चिंता बढ़ाने वाली है।
इस प्रतिनिधिमंडल में चार सांसदों- प्रसून बनर्जी, सुष्मिता देव, अपरूपा पोद्दार और शांतनु सेन- तथा पार्टी प्रवक्ता विश्वजीत देव के शामिल होने की घोषणा की गई थी। विश्वजीत ने कहा कि घटना की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है लेकिन यह पर्याप्त नहीं है। हम जानना चाहते हैं कि आखिर ऐसा क्यों हुआ?
उल्लेखनीय है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ने नगालैंड में हुई घटना की गहन जांच की मांग की है। गोलीबारी की घटना के बाद विपक्षी पार्टियां सरकार पर हमलावर हैं।