नवराष्ट्र मीडिया ब्यूरो 
दुमका। आज इस मंच में खड़ा होकर मन में खलबली सी मची है जिस विद्यालय का विद्यार्थी था आज वहीं मुख्य अतिथि के रूप में खड़ा हूँ। 80 के दशक में स्कूल छोड़ा था, एक उस समय का वक्त था और एक आज का वक्त है। चारो ओर मेरी आँखें पुरानी यादों को तरोताजा कर रही हैं। कौन सा पेड़ था, कौन सी बिल्डिंग, परिसर का चर्च सब एक-एक कर याद आ रहे हैं। आज जिस सीढ़ी से चढ़कर ऊपर मंच पर आया हूं उस पर कितनी बार स्कूल के दिनों में चहलकदमी की होगी। उक्त बातें मुख्यमंत्री श्री हेमन्त सोरेन ने संत जोसेफ उच्च विद्यालय गुहियाजोरी, दुमका में कहीं।

मुख्यमंत्री ने यहीं पर अपनी स्कूली शिक्षा ग्रहण किया था। आज मुख्यमंत्री संत जोसेफ उच्च विद्यालय गुहियाजोरी में स्मार्ट क्लासेस के उद्घाटन के अवसर पर उपस्थित बच्चों एवं उनके अभिभावकों तथा स्कूल के पदाधिकारियों और कर्मचारियों को संबोधित कर रहे थे।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर अपने स्कूली दिनों की यादों को सबों के बीच साझा किया। उन्होंने कहा कि मेरे बचपन के दिन आज मुझे सिनेमा की तरह दिखाई पड़ रहा है, इस रास्ते से जब भी गुजरता रहा हूं, मैं अक्सर सोचता था एक बार और पुराने स्कूल को जाऊं। 80 के दशक में इस स्कूल के बराबरी का शायद ही कोई स्कूल हुआ करता था आशा करते हैं कि आने वाले समय में पुनः यह उन ऊंचाइयों को छू सके। उन्होंने बताया कि गलती करने पर हमारी भी पिटाई होती थी। वहीं शिक्षकों का अनुशासन, मार्गदर्शन और आशीर्वाद से आज मैं आपके समक्ष राज्य के मुख्य सेवक के रूप में खड़ा हूं। स्कूल ने उस समय भी सीमित संसाधन में अपनी अच्छी पहचान बना रखी थी। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर स्कूल के बच्चों से मुलाकात की एवं अभिभावकों की परेशानियों को सुना एवं संबंधित पदाधिकारियों को परेशानियों के निराकरण के लिए निर्देश भी दिए।

इस अवसर पर विधायक दुमका श्री बसंत सोरेन, संत जोसेफ स्कूल के फादर पीयूष मरांडी, उपयुक्त श्री रवि शंकर शुक्ल उपस्थित रहे।

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