सुबोध,
किशनगंज 28 जून । बिहार के किशनगंज जिला अंतर्गत कोचाधामन प्रखंड क्षेत्र मजगंवां पंचायत वार्ड नं -9में मनरेगा योजना से तालाब सिर्फ कागजों में वर्णित धरातल पर कहीं नामोनिशान नहीं है।
इस बात की जानकारी तब मिली जब संबंधित पंचायत के पीआर एस अरूण पाठक से गत गुरुवार को पुछे जाने पर बताया कि मजगंवा पंचायत वार्ड नंबर नौ में दिनांक 5अप्रैल 2024 को सरवर आलम के निजी जमीन पर मनरेगा से तालाब निर्माण हुआ है ।
वही इस बात की पुष्टि के लिए उक्त योजना स्थल पर संबंधित तालाब निर्माण के जमीन मालिक घर पर सरवर आलम के अनुपस्थित में उसकी मां साकिरा से पुछने पर बताया कि मेरे जमीन पर कोई तालाब का निर्माण ही नहीं हुआ हैं।वह अपने घर के पास एक बड़ा सा गड्ढे को दिखा कर बोली कि यह करीब दस वर्षों से हैऔर यह गड्ढा अपने घर में मिट्टी भरने के क्रम में बन गया था अब इसमें पानी भरा रहता है और इसका कोई उपयोग नहीं हो रहा है।सही में उस बढ़े गड्ढे में पानी और दल कच्चू से भरा दिखा।
जबकि मनरेगा के वेव साईट पर विवरण के मुताबिक सरवर आलम के निजी जमीन पर तालाब का निर्माण पूर्ण दिखाया गया है। उक्त योजना मद में आवंटित राशि 255446में से 200760 रुपये का भुगतान किया गया है।
संबंधित क्षेत्र के मुखिया प्रतिनिधि नसीम अंसारी ने बताया कि उक्त योजना मेरे फंड से नहीं है। समिति के द्वारा वह कार्य किया गया है।
इस बाबत उप विकास आयुक्त स्पर्श गुप्ता ने बताया कि मामले में जांच कराई जाएगी।
उल्लेखनीय है कि मनरेगा केंद्र सरकार की एक महात्माकांछी योजना है। इस योजना का उद्देश्य है कि अंतिम पंक्ति के मजदूरों को सौ दिन गारंटी रोजगार देना।ताकि क्षेत्र से मजदूरों का पलायन रूके । लेकिन यह बड़ा सवाल है कि योजना सिर्फ कागजों में ही योजना सिमित रहें।