सरकार ने पटना नगर निगम को दिया आदेश, घाटों को भी दुरुस्त करने का काम तेज

विश्वपति 
पटना। राजधानी में इस बार टैंकरों से गंगाजल श्रद्धालुओं के घर तक पहुंचाने की व्यवस्था की जा रही है। ऐसा छठ पर्व को देखते हुए किया जा रहा है इसके लिए 45 टैंकर लगाए जाएंगे।
शहर के 92 घाटों में अब तक खतरनाक घाटों की सूची तैयार नहीं हो पाई है। घाटों की अधूरी तैयारी को लेकर अब प्रशासन का प्लान घर घर गंगाजल पहुंचाने को लेकर है।
इसके लिए पटना में 45 टैंकर लगाए जाएंगे जिससे घरों में गंगाजल पहुंचाने का काम किया जाएगा। हालांकि प्रशासन घाटों पर तेजी से काम करा रहा है लेकिन इस बार गंगा के जल स्तर अधिक होने से खतरनाक घाटों की संख्या भी अधिक हो सकती है।
इस संबध में नगर आयुक्त हिमांशु शर्मा का कहना है कि कोरोना का खतरा है और घाटों पर भी गंगा का जल स्तर अधिक समय तक रहा है। हालांकि युद्ध स्तर पर काम लगाया गया है। इसके लिए शहर में गंगा जल को वार्डों में पहुंचाने के लिए विशेष व्यवस्था की गई है।
45 टैंकर प्रयोग में लाए जा रहे हैं। जिसके द्वरा शहर के प्रत्येक वार्ड में नहाए खाए के दिन गंगा जल का वितरण किया जाएगा।
बता दें कि छठ घाट पर नगर निगम की तरफ से व्यवस्था की जा रही है। नगर आयुक्त का कहना है कि पटना में गंगा नदी के किनारे 92 घाट पर छठ पूजा का आयोजन होता है, जिसमें अभी के समय में 30 से अधिक घाट पर छठ घाट बनाने की प्रक्रिया चल रही है।
वैसे में घाटों पर गंगा के जल स्तर में बढ़ोत्तरी के कारण इस बार घाटों पर खतरा कुछ अधिक हो गया। ऐसे में प्रशासन की तैयारी है कि घाटों पर जाने वालों को पार्क और अस्थाई घाटों पर डायवर्ट किया जाएगा।
घाटों में बैरिकेडिंग को लेकर विशेष निगरानी है। इसके साथ साथ कोरोना के कारण भी लोगों को घाटों में डुबकी लगाने से रोका जाएगा। वैसे में प्रशासन की अपील है कि सुरक्षित छठ को लेकर अपने घर और वार्डों में पूजा करें।
वैसे जिला प्रशासन ने घाटों को भी मुकम्मल रूप से तैयार करने का हिदायत दिया है ताकि जिन लोगों के घर में अरघ देने की सुविधा नहीं हो वह आकर घाटों से पूजा-पाठ और अर्घ दे सकें।

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