कहा – आंकड़ों की चालबाजी से परिणाम होंगे भयंकर
पटना : कोरोना महामारी की तबाही के बीच लगातार विपक्ष देश की सत्तारूढ़ एनडीए सरकार पर कोविड से मरने वाले लोगों के आंकड़े छुपाने का आरोप लगा रही है। लेकिन इसी बीच पूर्व सांसद और जाप अध्यक्ष पप्पू यादव ने देश की वर्त्तमान स्थिति में जनगणना की जगह कोरोना गणना के लिए देश की तमाम विपक्षी पार्टीयों से आग्रह किया है। पप्पू यादव ने ये मांग ट्विटर पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी, एनसीपी चीफ शरद पवार, टीएमसी चीफ व पश्चिमी बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, मनसे चीफ व महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, सीपीआई के सीताराम येचुरी, डीएमके चीफ व तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम के स्टालिन, सपा चीफ अखिलेश यादव, बसपा चीफ मायावती, सीपीआई एमएल चीफ दीपांकर भट्टाचार्य, आप चीफ व दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, टीडीपी चीफ चंद्रबाबू नायडू, कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री कुमार स्वामी को टैग करते हुए इस राष्ट्रीय अभियान में शामिल होने का आग्रह किया है।
पप्पू यादव ने एक के बाद एक ट्वीट करते हुए विपक्ष के नेताओं से अपील किया है कि आज देश में जनगणना से अधिक जरूरत कोरोना गणना की है। उन्होंने कहा है कि भारत अभूतपूर्व संकट से जूझ रहा है। आज़ादी के बाद सरकार द्वारा आमंत्रित यह सबसे भीषण आपदा है।NYT का कहना है कोरोना से देश में करीब 42 लाख लोग मारे गए हैं।सरकार 3 लाख बता रही है।
पूर्व सांसद ने आगे लिखा है कि सही आंकड़ा नहीं आने एवं पीड़ित परिवार की सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित नहीं करने के बहुत भयंकर परिणाम होंगे। कोरोना काल के बाद इसका व्यापक असर दिखेगा। उन्होंने कहा कि अगर सरकार कोरोना गणना को तैयार नहीं है तो सभी विपक्षी दल गांव-गांव अपने कार्यकर्ताओं से कोरोना गणना करवाएं। नृशंस सच को सामने लाएं।
पप्पू यादव ने कहा कि कोरोना से मृत हर व्यक्ति के परिवार को चार-चार लाख रु की अविलंब मदद अत्यंत आवश्यक है। उसके बाद उनके पुनर्वास की परियोजना बने। अपनी छवि बचाने के लिए सरकार सच्चाई सामने नहीं आने देगी तो आप आगे आएं। जो दफन लाश पर से रामनामी खींच लेती है तो उससे क्या अपेक्षा?