केंद्रीय इस्पात मंत्री राम चंद्र प्रसाद सिंह ने मंडी गोबिंदगढ़ और लुधियाना की विभिन्न इस्पात इकाइयों का दौरा किया
- उद्योगपतियों से मुलाकात कर उनके मुद्दो और समस्याओं पर चर्चा की ।
नेशनल ब्यूरो
लुधियाना/नयी दिल्ली : केंद्रीय इस्पात मंत्री, श्री राम चंद्र प्रसाद सिंह ने आज मंडी गोबिंदगढ़ और लुधियाना की विभिन्न इस्पात इकाइयों का दौरा किया और आसपास के क्षेत्रों के इस्पात उद्योग से जुड़े स्थानीय उद्योगपतियों से उनके मुद्दो और समस्याओं पर चर्चा की ।
इस बैठक में ऑल इंडिया स्टील रीरोलर्स एसोसिएशन (एआईएसआरए), ऑल इंडिया इंडक्शन फर्नेस एसोसिएशन (एआईआईएफए) और मंडी गोबिंदगढ़ फर्नेस एसोसिएशन (एमएफएए) जैसे राष्ट्रीय और स्थानीय संघों के प्रतिनिधि उपस्थित थे। संस्थाओं ने मंत्री जी का हृदय से आभार व्यक्त किया और बताया कि 27 साल के बड़े अंतराल के बाद एक केंद्रीय इस्पात मंत्री ने इस क्षेत्र का दौरा किया है जिससे उन्हें बहुत उत्प्रेरण और संबल मिला है ।
मंत्री ने कहा कि भारत सरकार सेकेंडरी स्टील सेक्टर पर अपना पूरा ध्यान केंद्रित कर रही है और शीघ्र ही राष्ट्रीय स्तर पर इस क्षेत्र के लिए एक सम्मेलन आयोजित किया जाएगा जिसमें इस सेक्टर से जुड़े सभी मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की जाएगी। श्री सिंह ने कहा कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में भारतीय अर्थव्यवस्था में कोरोना के प्रभाव से निपटने के लिए कई कदम उठाए गए हैं जिससे सकल घरेलू उत्पाद में 8.5 % की बढ़ोतरी हुई है । इंफ्रास्ट्रक्चर समेत अन्य क्षेत्रों में निवेश से देश में स्टील की मांग भी बढ़ रही है। मौजूदा सरकार ने कारोबारियों और व्यवसायियों में विश्वास लाने के लिए कई नियम कानूनों को बदला है जिसका सकारात्मक प्रभाव हुआ है । माननीय मंत्री जी ने सभी सेकेंडरी स्टील उत्पादकों से आत्मनिर्भर भारत में यथासंभव योगदान देने के लिए आह्वान किया । श्री सिंह ने कहा की मोदी जी के नेतृत्व में भारत सरकार 80 करोड़ भारतवासियों को प्रतिमाह 5 किलो अनाज मुफ्त दे रही है जिस पर सरकार ने 260000 करोड रुपए खर्च किए हैं और यह गर्व की बात है कि सारा अनाज भारत के किसानों द्वारा ही उपजाया जा रहा है और आयात नहीं किया जा रहा ।
इस्पात उद्योगों के सर्वांगीण विकास को लेकर हुयी बैठक
भारत सरकार के इस्पात मंत्रालय द्वारा स्थापित राष्ट्रीय माध्यमिक इस्पात प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईएसएसटी), द्वारा किया गया था । इस बैठक के माध्यम से इस्पात निर्माण और रोलिंग में लगे हुए स्थानीय इस्पात उद्योगों के सर्वांगीण विकास का मार्ग प्रशस्त होगा।
केंद्रीय इस्पात मंत्री रामचंद्र प्रसाद सिंह ने राष्ट्रीय माध्यमिक इस्पात प्रौद्योगिकी संस्थान (एनआईएसएसटी) के परिसर का दौरा कर एनआईएसएसटी की ढांचागत सुविधाओं का अवलोकन किया तथा अधिकारियों के साथ बातचीत की । इस बैठक में केंद्रीय मंत्री के साथ इस्पात मंत्रालय की अपर सचिव,श्रीमती रसिका चौबे भी मौजूद थीं ।
तत्पश्चात श्री सिंह ने पंजाब में स्थित स्टील की विभिन्न लघु और मध्यम औद्योगिक इकाइयों का दौरा कर कर्मचारियों से मुलाकात की और कार्य प्रणाली को देखा । इनमें इंडक्शन फर्नेस,स्कैल्प के रूप में कंटीन्यूअस कास्ट बिलेट की डायरेक्ट रोलिंग, एलॉय स्टील बनाने के लिए इलेक्ट्रिक आर्क फर्नेस, कोल्ड रोलिंग मिल और पाइप बनाने वाली इकाइयां शामिल थी। श्री सिंह ने इस बात पर प्रसन्नता जाहिर की की 3 किलोमीटर के दायरे में 400 स्टील इकाइयां काम कर रही हैं और हजारों लोगों को रोजगार प्रदान कर रही हैं ।